Tanav mukt jivan kaise jiye? (तनाव मुक्त जीवन कैसे जियें ?)
हमने आज तक "क्या हासिल किया है" और "हमें भविष्य में क्या हासिल करना है ?" इनके बीच का जो अन्तर होता है वहीं हमारे अंदर तनाव पैदा करता है।
आज की Life Style और Way of Living इतना बदल गया है, कि tanav mukt jivan jeena और अपने लिए वक्त निकलना मुश्किल हो गया है। हमारी स्थिति उस ड्राइवर की तरह हो गई है , जो Highway पर गाड़ी चला रहा है।
अपने आगे वाली गाड़ी की Speed देखकर , हम भी उसी Speed से गाड़ी चला रहे हैं। यदि आगे वाला तेज Speed से चल रहा है , तो हम भी अपनी Speed बढ़ा देते हैं। ऐसी मानसिकता से kya tanav mukt jivan jiya जा सकता है?
जब हम Highway पर गाड़ी चलाते हैं, तो Highway की Speed के साथ चलना एक तरह से हमारी मजबूरी हो जाता है। यदि हमने स्पीड बीच में कम कर दी या रोक दी,तो पीछे से आने वाली गाड़ी हमें ठोक देंगी।
यही हमारी जीवन जीने की सोच भी बन जाती हैं। हम भी इसी सोच के साथ जीवन की रेस में शामिल हो जाते हैं। बस यहीं से हमारे tanav (तनाव) की शरूआत होनी सुनिश्चित है।
जीवन के हर Field में "जरूरत से ज्यादा " की सोच हम पर हावी हो जाती है। "जरूरत से ज्यादा " सोच जीवन में कभी भी ख़ुशी ,शांति एवं संतोष नहीं ला सकती है।
इसी सोच से हमारे Hormones में असुंतलन शुरू हो जाता है।और हम एक आम रोग tanav (तनाव) से ग्रसित होते जााते हैं। परिणामस्वरूप Avsaad से ग्रसित हो जाते हैं । आज सभी किसी न किसी स्तर पर tanav (तनाव) से ग्रसित हो रहे हैं।
Tanav (तनाव) का थकान से कोई मतलब नहीं है ।जिस काम से आपका लगाऊ नहीं है, वह Tanav (तनाव) है।
Tanav (तनाव) तो एक बीज मात्र है। यह अन्य बीमारियों जैसे Blood Pressure , Diabetes , Depression and Heart Attack आदि को जन्म देता है।
आज दुनिया में अधिकांश लोग Blood Pressure , Diabetes and Depression जैसी Psychosomatic जैसे Silent Killer रोगों से ग्रसित हो रहें हैं । Heart Attack इनका परिणाम है।
मैं इस blog में अपना अनुभव विज्ञान के सूत्र की सहायता से साधारण शब्दों में प्रस्तुत करने जा रहा हूं । कैसे हम tanav (तनाव) और Avsaad से छुटकारा पा सकते हैं?
tanav mukt hone ka assan mantra: तनाव मुक्ति का आसान मंत्र
इस Article में मैंने तीन शब्दों को लेकर tanav mukt (तनाव मुक्त ) होने के सूत्र पर अपना अनुभव साझा किया है।
- Stress
- Pressure
- Resilience (Inner Strength )
इस सूत्र को अच्छी तरह से समझने के लिए , हम यहाँ पर सबसे पहले दाब की परिभाषा एवं सूत्र की सहायता से उदाहरणों को समझने का प्रयास करेंगे।
यदि हम इन उदाहरणों को समझ गए तो हम आसानी से तनाव मुक्त (tanav mukt ) होने का सूत्र भी समझ जायेंगे।
मैं यहां पर दाब की परिभाषा एवं दाब के सूत्र से समझने का प्रयास कर रहा हूं।
दाब की परिभाषा - एकांक क्षेत्रफल पर लगने वाला बल ही दाब है
"Pressure is defined as the physical force exerted on an object. The force applied is perpendicular to the surface of objects per unit area. The basic formula for pressure is F/A (Force per unit area). Unit of pressure is Pascals (Pa)".
Formula P = F/A
Where:P = Pressure , F = Force , A = Area
- जितना ज्यादा Force होगा , उतना ही ज्यादा Pressure होगा। Pressure , Force के समनुपाती होता है।
- जितना ज्यादा Area होगा , उतना ही कम Pressure होगा। Pressure , Area के व्युत्क्रमानुपाती है।
उदाहरण :
एक नुकीली कील (Area कम ) दीवार में आसानी से गड जाती है । एक Blunt कील (Area ज्यादा ) दीवार में आसानी से नहीं गड जाती है।
यहां पर हम साधारण शब्दों में समझने का प्रयास कर रहे हैं, कि कैसे हम Pressure को कम या ज्यादा कर सकते हैं।
- केवल Area को कम या ज्यादा करके।
- Force (constant रखकर ) में बिना किसी बदलाव करके।
यहां पर कुछ उदाहरणों की सहायता से समझते हैं।
Ex.1: P=10/5= 2 Pascals
Ex.2: P=10/10=1 Pascals
Ex.3: P=10/20=0.5 Pascals
पहले उदाहरण में
- Force 10 Newton है।
- Area 5 Meter Square है।
- Pressure 2 Pascals हुआ।
दूसरे उदाहरण में
- Force 10 Newton है।
- Area को बढाकर 10 Meter Square कर दिया है। अर्थात Area को पहले से थोड़ा बढा दिया गया है।
- अब Pressure 1 Pascals हुआ। अर्थात Pressure पहले से थोड़ा कम हो गया है।
तीसरे उदाहरण में
- Force 10 Newton है।
- Area को और बढाकर 20 Meter Square कर दिया है। अर्थात Area को पहले से थोड़ा और बढा दिया गया है।
- अब Pressure 0.5 Pascals हुआ।अर्थात Pressure पहले से और कम हो गया है।
इन उदाहरणों से स्पष्ट हो गया है कि Force को Constant रखने पर और Area को बढ़ाकर, Pressure को कम कर सकते हैं। यह आप सामान्य जीवन में भी देख सकते हैं।
यहां एक Formula की सहायता से समझ सकते हैं कि कैसे हम अपने tanav (तनाव) और Avsaad से हमेशा के लिए mukt (मुक्त ) हो सकते हैं। चाहे हमारे ऊपर किसी भी काम का या बात का कितना भी Pressure क्यों ना हो । हम Pressure को न छेड़कर अपने tanav (तनाव) को कैसे कम करें।
Formula is :
Stress= Pressure / Resilience
यहां पर हम पहले दिये गये उदाहरणों के अनुसार समझने की कोशिश करेंगे।
इन Formulas में साफ है कि जैसे-जैसे हम अपनी Resilience को बढाते जायेंगे उसी अनुपात में हमारा tanav (तनाव) कम होते जायेगा।
- परिस्थितियों पर हमारा नियंत्रण नहीं होता हैं। अर्थात काम का या किसी बात का कितना भी Pressure हो हम Pressure का कुछ नहीं कर सकते हैं।
- हमारे हाथ में हमारी Inner strength है। जिसे हम बढाकर tanav (तनाव) को कम कर सकते हैं।
- जितना हम अपनी Resilience पर काम करेंगे उसी अनुपात में Inner Strength बढती है और हम tanav mukt (तनाव मुक्त) हो जायेगा।
- यह विज्ञान के सूत्र की तरह है। यह अवशय काम करेगा यह मेरा अपना अनुभव है।
Resilience या Inner Strength को कैसे बढ़ाएं ?
- Early Morning में उठना।
सुबह सबेरे 3 से 4 बजे के बीच उठना अपने आप में प्राकृतिक औषधि है। इसका कोई Substitute नहीं है। - यदि ब्रह्म मुहूर्त में उठने की आदत डाल दी जाए और एक जगह शांत होकर बैठ जाएं । इसका 100 गुना प्रभाव हमारे मन तथा शरीर पर पडता है।
- हमारा शरीर एवं मन ही तो है ,जिस पर हमें काम करना है।
- विज्ञान की रिसर्च कहती है कि हमारे दिमाग में 900 से ज्यादा Chemicals हैं । जैसे Dopamine , Serotonin etc खुशी के Hormones ब्रह्म मुहूर्त में ही दिमाग में Release होते हैं।
- इसलिए जीवन में ब्रह्म मुहूर्त में उठने से हमारी सारी समस्याओं के हल प्राप्त होते हैं। हमारे सारे Hormones Balance होते हैं।
Early Morning में उठने से हमारा Way of Living और Thought Process में बदलाव होता है।
हम अपने Inner Software पर भरोसा करने लगते हैं।परणामस्वरूप Resilience वृद्धि होती है। इस प्रकार Inner Strength को बढा कर तनाव मुक्त (Tanav mukt) होकर अवसाद से छुटकारा पा सकते हैं।
- यदि ब्रह्म मुहूर्त में उठने की आदत डाल दी जाए और एक जगह शांत होकर बैठ जाएं । इसका 100 गुना प्रभाव हमारे मन तथा शरीर पर पडता है।
- हमारा शरीर एवं मन ही तो है ,जिस पर हमें काम करना है।
- विज्ञान की रिसर्च कहती है कि हमारे दिमाग में 900 से ज्यादा Chemicals हैं । जैसे Dopamine , Serotonin etc खुशी के Hormones ब्रह्म मुहूर्त में ही दिमाग में Release होते हैं।
- इसलिए जीवन में ब्रह्म मुहूर्त में उठने से हमारी सारी समस्याओं के हल प्राप्त होते हैं। हमारे सारे Hormones Balance होते हैं।
Dimag me tanav ho to kya karen?
2. Meditation.
यहाँ पर मैंने Early Morning में Meditation करने के दो तरीके बताये है।
- Visualization
- Affirmation
Visualization कैसे करें?
मुझे मन में एक बीज बोना है , जो चीज तुम्हारे पास नहीं है, उसे ऐसा मानकर विजुलाइज करना है कि वह आपके पास है। आप महसूस कर रहे हैं ,जैसा आप चाहते हैं
- 10 मिनट गहरी सांस लें, अंदर और बाहर जाती सांस पर ध्यान लगएं और शांत होकर बैठे ।
- आंखें बंद करें या ना करें।
- सबसे पहले तो आपके मन को Control करने करना है। मन के साथ प्रेम से बात करनी है और अपनी परेशानी मन को बतानी हैं।
- बड़ी शिद्धत के साथ मन को अपने स्ट्रेस का कारण बताना है। जैसे यही आपकी बीमारी को ठीक करने वाला डॉक्टर भी है और दवा भी यही है।
- मन की भावनाओं को रंगना है।
- (Tanav mukt jivan ) तनाव मुक्त जीवन जीने का प्रयास करें ।
- जिस प्रकार की Image and Result आप अपने जीवन में चाहते हैं।उसी प्रकार की Images का Clear मानसिक चित्रण करना है और उसमें अपने Emotions को भी add करना है।
- खुशहाली से अपने परिवार के संग संबंधियों और दोस्तों के साथ सफलतापूर्वक जीवन जी रहे हैं
- हर दिन 10-20 मिनट मानसिक चित्रण करें। अपनी "Tanav mukt jivan " की तश्वीर देखनी है।
- विश्वास करें। यह काम करता है ,पर समय लगता है।
Affirmation क्या है?
Affirmation एक प्रकार का कथन होता है। कथन में अपनी Image ऐसी बनानी है की जो भी चीज आप चाहते है वह पहले से है। तभी आपकी मनोकामना प्रार्थना पूरी होगी।
- वर्तमान में अपने आप से कहा Affirmation का प्रभाव हमारे मन पर पड़ता है और हमें कथन का फल भविष्य में मिलता है। Affirmation में हम अपने कथन की Clear Image बनाकर सोचते है। जैसे यह चीज या समस्या का हल अभी हमारे पास हो। क्योंकि मस्तिष्क Image की भाषा को समझता है।
- हमारा Subconscious Mind हमेशा वर्तमान काम करता है। इसलिए हमारे द्वारा कहा गया कथन वास्तविक रूप में बदल जाता है।
Affirmation कैसे करना है?
Affirmation प्रकार का कथन होता है ,जिसे अपने आप से विश्वास से कहना होता है।
- मैं Inner Software हूँ।
- मेरा Inner Software मेरे शरीर एवं मन का निर्माण कर रहा है।
- मैं Already शान्त हूं।
- मैं Already Powerful हूं।
- मैं बहुत खुश मिजाज हूं।
- मैं शांत हूं और आनंद से भरपूर हूं।
- मैं हमेशा अपने Inner Software पर विश्वास करता हूं।
- मेरा Inner Software मेरी सभी परेशानियों को हल कर रहा है।
- मैं अपने भविष्य का निर्माता हूं।
- मेरा Vision Already विस्तृत हैं।
- मैं "tanav mukt jivan ( तनाव मुक्त जीवन ) जी रहा हूँ।
- मैं Depression से मुक्त हूँ।
इस तरह से प्रत्येक व्यक्ति के अपने व्यक्तिगत कथन हो सकते हैं। प्रत्येक दिन 10 मिनट का Affirmation भी आपके Vision को विस्तृत कर सफलता प्रदान कर सकता है। इस तरह आप "tanav mukt" हो जाते हो।
Meditation से लाभ।
- मेडिटेशन से Lactic Acid का लेवल बहुत कम हो जाता है।
- Blood Vessel पर कम असर पड़ता है ।
- Blood Flow ज्यादा होता है।
- आक्सीजन Flow ज्यादा होती है।
- Meditation से हम परिस्थितियों से detach होकर सोचते हैं। हमें हमारी समस्याओं एवं स्ट्रेस को हल करने के कई Solutions व विकल्प मिलते हैं।
- Meditation से alpha wave generate होती हैं।
- Electric Impulse 12-14 के बीच होती है।
अपने Inner Software पर विश्वास करें कि एक छोटी कोशिका से इतना बड़ा शरीर अपने आप बन गया है या कोई Inner Software काम कर रहा है।अपनी Thought Process को Change करें कि मैं Powerful हूँ , विपरीत परिस्थितियों के हल मेरे हैं।
3-योग और प्राणायाम करें ।
यहां पर एक साधारण योग आपके समक्ष प्रस्तुत किया गया है।
- 1 दिन में कम से कम 3 घंटे के लिए सही पोस्टर में रहे हैं। अर्थात अपनी Back Bone को 3 घंटे के लिए उठते, बैठते एवं चलते हुए सीधा रखें। एक हफ्ते में आपको फर्क दिखना शुरू हो जायेगा। इस योग को ध्यान में रखकर आप अपनी Inner Strength को बढ़ा सकते हैं।
प्राणायाम
- अपनी सांसो पर 1 मिनट के लिए ध्यान दें। नाक से अंदर जाती एवं बाहर जाती सांस महसूस करें।
- यदि आपने 1 मिनट भी सांस पर Concentration कर लिया तो आपने दुनियां जीत ली अर्थात अपने अपने पर विजय प्राप्त कर ली।
- 10 मिनट के लिए बाएं नथुने से साँस अंदर लें एवं दाएं नथुने से बाहर निकले। इसी प्रकार दाएं नथुने से सांस अंदर लें और बाएं नथुने से बाहर निकलें। बाएं नथुने शुरू एवं बाएं नथुने पर ही खत्म करना है।
- प्राणायाम से Thought Process , Slow Down हो जाने से Overthinking Slow down होता है। इस कारण आप tanav mukt (तनाव मुक्त ) होना शुरू हो जाते है।
- Toxic Thought से Lactic Acid का level बढता जाता है। Blood Vessel Contract होने के कारण। Blood कम Flow होता है। कम आक्सीजन मिलने से Glucose का End में परिणाम Lactic Acid. बनता है और tanav (तनाव ) और थकान का कारण बनता है।
- प्राणायाम से ऑक्सीजन का लेबल बाद जाता है , और यह समस्या खत्म हो जाती है।
यदि आप सजग हो कर, यह प्रक्रिया करते हैं , तो आपके Resilience में वृद्धि होगी। आपका Stress कम हो जायेगा। इस प्रकार आप अपने tanav को Natural Therapy से कम कर सकते हैं।
4-दूसरों को बदलने की कोशिश ना करें।
- आप अपनी किसी गलत आदत को सुधार नहीं पा रहे हैं । और आप चाहते हैं कि दूसरा आपके हिसाब से बदल जाए यह। संभव नहीं है।
- इसलिए जो जैसा है उसे उसी रूप में स्वीकार करें।
- दूसरों को बदलने की नाकामयाब कोशिश न करें। यह बाहर की परिस्थिति है , ऐसा करने से आप अपनी शक्ति को Deplete करते हैं।
- आप जहां रह रहे हैं, आप उसे नहीं बदल सकते हैं, पर अपने आप को बदल कर और way of living को बदलकर प्रत्येक स्थिति में आनंद ले सकते हैं।
- यह आपके Resilience को बढ़ाता है। हम "Tanav mukt jivan jine" लगते हैं।
5-अपनी जिम्मेदारी स्वीकार करें।
- विपरीत परिस्थितियों में विकल्प हम खुद चुनते हैं। इसलिए मेरी विपरीत परिस्थितियों के लिए मैं और केवल मैं ही जिम्मेदार हूं। अपनी जिम्मेदारी स्वीकार करें।
- अपनी जिम्मेदारी स्वीकार करने से ,आपको विपरीत परिस्थितियों से लड़ने के अनेक विकल्प प्राप्त होंगे। विपरीत परिस्थितियों से घबराएं नहीं स्वीकार करें।
- जिम्मेदारी स्वीकार करना tanav mukt jivan (तनाव मुक्त जीवन) जीने का सबसे best and easy way है।
6-Exercise करें।
- आज की जीवनशैली में बदलाव आ गया है। नई पीढ़ी में यह प्रॉब्लम ज्यादा है, कि देर से सोना और देर से जागना। यदि हम प्रकृति के नियम को स्वीकार नहीं करते हैं ,तो परिणाम भी हमको ही भुगतने पड़ते हैं।
- इसलिए 30 मिनट की Morning Walk और 30 मिनट की Simple Exercise जरूर करें। यह शरीर को मजबूत करने के लिए आवश्यक है।
Exercise से हमारी Inner Power बढ़ती है। हमारे Awareness बढ़ती है। हमारी समय से सही निर्णय लेने की क्षमता बढ़ती है। हम "Tanav se mukt" जाते हैं ।
7-Positive Vibration generate करें।
- हमारे द्वारा कहे शब्द दूसरों तक बाद में पहुंचते हैं ,जबकि हमारे मन में क्या चल रहा है । वह विचार दूसरों तक पहले पहुँचता है।
- दूसरे के लिए हम जो कुछ भी सोच रहे हैं या महसूस रहे हैं। वह दूसरों तक पहले पहुंचता है। इसलिए विचारों चयन में ध्यान रखें।
- अपने भावों को Positive and Powerful बनाये रखें। इसका प्रभाव सबसे पहले आप पर ही पड़ता है। फिर आपके अपने आस- पास का माहौल वैसा ही बदलता है। Result में आपकी Inner Power में बदलाव होता है।
- Positive vibration हमारे आसपास के माहौल को बदलकर हमें tanav mukt jivan (तनाव मुक्त जीवन ) जीने की ऊर्जा से भरपूर करता है।
In Conclusion:
हमने यहां पर देखा कि ,कैसे अपने Resilience बढाकर Stress and Depression को जड़ से खत्म कर सकते हैं। तथा Future में भी आने वाले Tanav (तनाव )पर काबू पा सकते हैं।
यहाँ पर जितने भी Methods बताये गए हैं , सभी प्राकृतिक हैं। यदि हम अपने जीवन की बागडोर अपने हाथ में लेते हैं , अर्थात अपने Way of Living or Thought Process पर थोड़ा सा भी बदलाव लाते हैं , तो 100% परिणाम हमारे हक़ में होंगे। हमारे मन में ही "Tanav mukt jivan jine "का सूत्र है।
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